गजलक्ष्मी

गजलक्ष्मी, लक्ष्मी के आठ रूपों (अष्टलक्ष्मी) में से एक हैं। गजलक्ष्मी को कमल पर विराजमान दिखाया जाता है, और उनके दोनों ओर गज होते हैं। उन्हें पद्मासन मुद्रा में बैठे हुए चार भुजाओं के साथ चित्रित किया जाता है।ऊपरी दो भुजाओं में वह कमल धारण करती है, और निचली भुजाएँ प्रायः अभयमुद्रा और वरदमुद्रा में दिखाई जाती हैं। दोनों हाथियों को देवी के ऊपर अपने सूंड़ से पानी डालते हुए दिखाया जाता है।[1] लक्ष्मी के अन्य रूपों की भांति गजलक्ष्मी धन, समृद्धि और सौभाग्य की प्रतीक हैं। हिन्दू और बौद्ध दोनों के रूपांकनों में गजलक्ष्मी का चित्रण हुआ है।[2]

लघुचित्र ( 1780 ई)

सन्दर्भ

🔥 Top keywords: क्लियोपाट्रा ७ईद अल-अज़हानिर्जला एकादशीमुखपृष्ठविशेष:खोजभारत के राज्य तथा केन्द्र-शासित प्रदेशभारत का केन्द्रीय मंत्रिमण्डलभारत के प्रधान मंत्रियों की सूचीकबीरॐ नमः शिवायप्रेमचंदतुलसीदासमौसमचिराग पासवानमहादेवी वर्मासुभाष चन्द्र बोसलोकसभा अध्यक्षखाटूश्यामजीभारतीय आम चुनाव, 2019हिन्दी की गिनतीनरेन्द्र मोदीभारत का संविधानइंस्टाग्राममुर्लिकांत पेटकररासायनिक तत्वों की सूचीसूरदासश्री संकटनाशनं गणेश स्तोत्रप्रेमानंद महाराजभारतीय आम चुनाव, 2024महात्मा गांधीभारतहनुमान चालीसाश्रीमद्भगवद्गीताभारतीय राज्यों के वर्तमान मुख्यमंत्रियों की सूचीभीमराव आम्बेडकररानी लक्ष्मीबाईसंज्ञा और उसके भेदउत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्रियों की सूचीगायत्री मन्त्र